Site icon Help Hindi Me

HINDI KAVITA: वरदान

वरदान

जन्म से मृत्यु तक
जो भी हमारे जीवन में घटता है
वो सब ईश्वर की ही
बनाई व्यवस्था के सिवा,
कुछ भी तो नहीं है।


जो कुछ भी हमें
जीवन में मिलता है
सुख हो या दुःख
अमीरी हो या गरीबी
ईश्वर की इच्छा के बिना
पत्ता भी नहीं हिलता है।


पर ये सब हम कहाँ समझते हैं?
अच्छा हो तो
हम किस्मत पर फख्र करते हैं,
कुछ भी बुरा होने पर
ईश्वर को भी कोसने से
कहाँ चूकते हैं।


अब तो ये बात मान लीजिए
ईश्वर का धन्यवाद कीजिए
क्योंकि
आज जो कुछ भी
आपके पास है वो भी
और जो बीते कल में था,
या आने वाले कल में जो भी होगा,
बिना ईश्वर की इच्छा के
न था,न है,न कभी होगा।


अच्छा है या बुरा
कम है या ज्यादा
अमीरी है या गरीबी
उसे ईश्वर का ही वरदान मानिए,
क्योंकि उसका वरदान
इतना है,यही क्या कम है?
शरीर सलामत है
ये क्या किसी वरदान से कम है?
ईश्वर के वरदान की भी
अजब माया है
बिना माँगें ही हमनें
कितना कुछ पाया है।

Read More:
All HINDI KAVITA
लौटकर नहीं आओगी

अगर आप की कोई कृति है जो हमसे साझा करना चाहते हो तो कृपया नीचे कमेंट सेक्शन पर जा कर बताये अथवा contact@helphindime.in पर मेल करें.

Note: There is a rating embedded within this post, please visit this post to rate it.

About Author:

सुधीर श्रीवास्तव
शिवनगर, इमिलिया गुरूदयाल
बड़गाँव, गोण्डा, उ.प्र.,271002

Exit mobile version